पेंच टाइगर रिजर्व में 3-4 वर्षीय नर बाघ का शव मिला, आपसी संघर्ष में मौत की आशंका
सिवनी
मध्यप्रदेश के सिवनी जिले के प्रसिद्ध पेंच टाइगर रिजर्व के कुरई परिक्षेत्र के पश्चिम खामरीट बीट में सोमवार सुबह गश्ती के दौरान 3-4 वर्ष आयु के नर बाघ का शव मिला। यह घटना कक्ष क्रमांक 630 में हुई, जहां वन विभाग की टीम को सड़ी हुई मांस की गंध से बाघ के शव का पता चला।

घटना का विवरण
पेंच टाइगर रिजर्व के उपसंचालक रजनीश कुमार सिंह ने जानकारी दी कि गश्ती दल को सुबह लगभग 8:45 बजे वन मार्ग से करीब 20-25 मीटर दूर बाघ का शव मिला। शव लगभग दो दिन पुराना प्रतीत हुआ। घटनास्थल पर खून बहने के चिन्ह मिले, जिससे प्रथम दृष्टया बाघ की मौत आपसी संघर्ष में होने का संकेत मिला।
डॉग स्क्वाड और फोरेंसिक जांच
शिकार या विषाक्तता की आशंका को ध्यान में रखते हुए डॉग स्क्वाड की मदद से क्षेत्र की गहन जांच की गई। हालांकि, डॉग स्क्वाड केवल शव और उसके आसपास ही घूमता रहा। क्षेत्र के सभी जलस्रोतों की जांच की गई, लेकिन किसी में भी जहर मिलने के निशान नहीं पाए गए। आसपास कोई विद्युत लाइन भी मौजूद नहीं थी।
पोस्टमार्टम रिपोर्ट
नेशनल टाइगर कंजर्वेशन अथॉरिटी (NTCA) के प्रोटोकॉल के तहत विशेषज्ञ और दो वन्यजीव चिकित्सकों की टीम ने पोस्टमार्टम किया। रिपोर्ट में बाघ के गले और शरीर पर अन्य बाघ के केनाइन दांतों से किए गए पंचर मार्क पाए गए। अत्यधिक खून बहने के कारण बाघ की मृत्यु होना संभावित बताया गया। शव के सभी अंग, जैसे नाखून, मूंछ के बाल और दांत, सुरक्षित मिले।
शव का निपटान
पर्यावरणीय सुरक्षा और प्रोटोकॉल का पालन करते हुए, भस्मीकरण समिति और अधिकारियों की उपस्थिति में शव को पूरी तरह जलाकर नष्ट किया गया।
वन विभाग की अपील
पेंच टाइगर रिजर्व के अधिकारियों ने कहा कि यह घटना बाघों के बीच आपसी संघर्ष का मामला प्रतीत होती है। विभाग क्षेत्र में लगातार निगरानी और सुरक्षा बनाए रखने के लिए प्रतिबद्ध है। स्थानीय लोगों और पर्यटकों से अपील की गई है कि वे जंगल में सतर्क रहें और किसी भी संदिग्ध गतिविधि की जानकारी तुरंत वन विभाग को दें।
यह घटना बाघों के संरक्षण और उनके प्राकृतिक आवास की सुरक्षा के महत्व को दोहराती है। बाघों के बीच बढ़ती प्रतिस्पर्धा और उनके घटते क्षेत्रों पर ध्यान देने की आवश्यकता है।।